RBI Monetary Policy Repo Rate: 6 दिसंबर की RBI पॉलिसी से रियल एस्टेट को बड़ी उम्मीदें, होम लोन सस्ते होने की संभावना
RBI Monetary Policy Repo Rate: 6 दिसंबर को RBI की मौद्रिक नीति में रेपो रेट को लेकर बड़ा फैसला हो सकता है। जानें रियल एस्टेट सेक्टर और होम बायर्स के लिए इस निर्णय का क्या असर होगा।
RBI Monetary Policy Repo Rate: RBI की मौद्रिक नीति और रियल एस्टेट सेक्टर पर असर
RBI Monetary Policy Repo Rate: बीते दो साल रियल एस्टेट और होम बायर्स के लिए शानदार रहे हैं, जिसमें बाजार में बूम देखा गया और निवेशकों को अच्छा लाभ मिला। अब भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की मौद्रिक नीति समिति (MPC) की 4 दिसंबर से शुरू हुई बैठक पर सबकी नजरें हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि 6 दिसंबर को रेपो रेट में कटौती या स्थिरता का फैसला हो सकता है।
RBI Monetary Policy Repo Rate: रेपो रेट और रियल एस्टेट का संबंध
रेपो रेट वह दर है, जिस पर बैंकों को RBI से कर्ज मिलता है। जब यह दर घटती है, तो होम लोन सस्ते हो जाते हैं, जिससे घर खरीदने की लागत कम होती है और रियल एस्टेट में निवेश बढ़ता है।
RBI Monetary Policy Repo Rate: डेवलपर्स और एक्सपर्ट्स की प्रतिक्रिया
मनोज गौड़ (CMD, गौड़ ग्रुप) का कहना है कि रेपो रेट अगर स्थिर रहता है, तो यह खरीदारों और डेवलपर्स के बीच विश्वास बढ़ाएगा। वहीं, प्रदीप अग्रवाल (सिग्नेचर ग्लोबल) ने कहा कि अगर दरों में कटौती होती है, तो यह मांग बढ़ाने और विकास को गति देने में मदद करेगी।
अमित मोदी (काउंटी ग्रुप) का मानना है कि दिसंबर तिमाही में दरों में कटौती रियल एस्टेट के लिए प्रोत्साहन साबित होगी। संजय शर्मा (SKA ग्रुप) ने कहा कि रेपो दर में कमी से किफायती आवास क्षेत्र में मांग बढ़ेगी।
RBI Monetary Policy Repo Rate: उम्मीदें और भविष्य की दिशा
मदन सबनवीस (बैंक ऑफ बड़ौदा, मुख्य अर्थशास्त्री) ने कहा कि वैश्विक अनिश्चितताओं और मुद्रास्फीति के कारण फरवरी 2025 से पहले दरों में कटौती की संभावना कम है।
डॉ. गौतम कनोडिया (क्रीवा और कनोडिया ग्रुप) ने कहा कि ब्याज दरों में कमी से नए इलाकों में घरों की मांग बढ़ेगी। सौरभ सहारन (HCBS डेवलपमेंट) ने भी रेपो दर में कटौती को रियल एस्टेट में तेजी का संकेत बताया।
Read More: दिल्ली BJP को बड़ा झटका, पद्म श्री ‘एंबुलेंस मैन’ जितेन्द्र सिंह शंटी ने थामा AAP का दामन