नई दिल्ली, 5 अगस्त: ‘मानव स्वास्थ्य में कृत्रिम बुद्धिमत्ता और अनुवाद संबंधी अनुसंधान’ विषय को लेकर एम्स दिल्ली में एक सम्मेलन का आयोजन किया गया। इस दौरान भारतीय जैव चिकित्सा विज्ञान अकादमी (आईएबीएस) से जुड़े चिकित्सक और शोधकर्ता मौजूद रहे।
एम्स के प्रयोगशाला चिकित्सा विभाग के डॉ. श्याम प्रकाश ने बताया कि इस सम्मेलन का वैश्विक उद्देश्य रोग प्रक्रिया के रोगजनन को समझने में सेलुलर संकेतों का अनुवाद करना और अंततः नवीन उपचार विकसित करने में मदद करना है। उन्होंने बताया कि आईएबीएस की स्थापना भारत और विदेश के प्रसिद्ध वैज्ञानिकों द्वारा ज्ञान एवं अकादमिक उत्कृष्टता के प्रसार में चिकित्सकों व बुनियादी वैज्ञानिकों के बीच सहयोग और अनुवाद संबंधी अनुसंधान को बढ़ावा देने के उद्देश्य से की गई थी।
उन्होंने कहा कि इस सम्मेलन में स्वास्थ्य सेवा के क्षेत्र में कृत्रिम बुद्धिमत्ता की अत्याधुनिक तकनीक को आगे बढ़ाने में अनुसंधान के लिए दिशा-निर्देश निर्धारित किए जाएंगे। सम्मेलन के दौरान भारत और विदेश के प्रतिष्ठित संकाय मानव रोगों के विभिन्न पहलुओं पर बात करेंगे और कंप्यूटर मानव संपर्क के संबंध में मानव जीनोम के अनुप्रयोग पर विस्तार से चर्चा करेंगे। इस वैज्ञानिक सम्मेलन में 300 से अधिक महत्वाकांक्षी मेडिकल छात्र, युवा शोधकर्ता और प्रौद्योगिकीविद् मौजूद रहे