उत्तर प्रदेश, नोएडा: चाइल्ड पीजीआई में जेनेटिक बीमारियों की जांच शुरू, निजी अस्पतालों के मरीज भी ले सकते हैं लाभ
उत्तर प्रदेश, नोएडा: चाइल्ड पीजीआई में जेनेटिक बीमारियों की जांच शुरू, निजी अस्पतालों के मरीज भी ले सकते हैं लाभ

अजीत कुमार
उत्तर प्रदेश, नोएडा। गर्भ में पल रहे शिशु को कोई जेनेटिक बीमारी तो नहीं, इसका आसानी से पता चल सकेगा। चाइल्ड पीजीआई में कई जेनेटिक बीमारियों की जांच शुरू हो गई है। इस सुविधा का लाभ सिर्फ संस्थान में आने वाले मरीज नहीं बल्कि निजी अस्पतालों के मरीज भी ले सकते हैं।
संस्थान में अब थैलेसीमिया, स्पाइनल मस्कुलर एट्रोफी, ड्यूशेने मस्कुलर डिस्ट्रॉफी, फ्रैजाइल एक्स सिंड्रोम जैसी गंभीर बीमारियों की जांच शुरू हुई है। इससे गर्भ में पल रहे शिशु में संभावित ब्रेन डिफेक्ट या अन्य जेनेटिक समस्याओं का समय रहते पता लगाया जा सकता है। अन्य जांच भी जल्द शुरू होने वाली है।
निजी अस्पताल के मरीजों का होगा पंजीकरण
निजी अस्पताल से जांच के लिए आने वाले लोगों को चाइल्ड पीजीआई में 10 रुपये का पंजीकरण शुल्क देना होगा। उसके बाद निर्धारित शुल्क जमा कर जांच करा सकेंगे। यह जांच शुरू होने से न सिर्फ नोएडा बल्कि आसपास के राज्यों और शहरों के लोगों को भी फायदा मिलेगा।
कई बीमारियों की हो सकेगा इलाज
विशेषज्ञों का मानना है कि समय रहते अगर बीमारियों की पहचान हो जाए तो कई मामलों में इलाज संभव है। चाइल्ड पीजीआई में उपलब्ध ये जांचें अब तक सिर्फ बड़े मेडिकल संस्थानों या निजी लैब में उपलब्ध थीं जिनकी लागत आम आदमी की पहुंच से दूर थी। अब सरकारी स्तर पर यह सुविधा मिलने से मध्यम व निम्नवर्गीय परिवारों को बड़ी राहत मिलेगी।
निजी अस्पतालों के मरीज भी जेनेटिक बीमारियों की जांच करवा सकेंगे। इसके लिए उन्हें केवल 10 रुपये का पंजीकरण शुल्क देना होगा और जांच का निर्धारित शुल्क जमा करना होगा। हालांकि यह जांच तभी की जाएगी जब डॉक्टर लिखेगा। -डॉ. एके सिंह, निदेशक, चाइल्ड पीजीआई
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