नई दिल्ली, 18 अगस्त : राजधानी दिल्ली के एम्स सहित ग्यारह अस्पतालों के डॉक्टर सोमवार को भी हड़ताल पर रहेंगे। इस दौरान वार्ड, इलेक्टिव सर्जरी और लैब जांच सुविधा छोड़कर आपातकालीन सेवाएं जारी रहेंगी। इस आशय की जानकारी केंद्रीय सुरक्षा अधिनियम के लिए गठित कार्रवाई समिति ने प्रधानमंत्री, गृह मंत्री, स्वास्थ्य मंत्री और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री को लिखे पत्र के माध्यम से रविवार को दी।
समिति के मुताबिक कार्यस्थल पर स्वास्थ्य पेशेवरों की सुरक्षा को लेकर डॉक्टर समुदाय चाहता है कि केंद्र सरकार अध्यादेश लाए और लागू करे। इस संबंध में हम कोई समझौता नहीं करेंगे। हालांकि, सरकार ने स्वास्थ्य देखभाल पेशेवरों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए उपाय सुझाने के लिए एक समिति गठित करने का आश्वासन दिया है लेकिन समिति, तत्काल उपाय के तौर पर अध्यादेश चाहती है।
कार्रवाई समिति के प्रमुख सदस्य और एम्स आरडीए के अध्यक्ष डॉ. इंद्र शेखर प्रसाद ने कहा अस्पतालों में कार्यरत डॉक्टरों के लिए न्याय एवं सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए स्वास्थ्य पेशेवरों की छह प्रमुख मांगें हैं। जिनमें निष्पक्ष एवं पारदर्शी जांच, तत्काल अध्यादेश, संसद में विधान, अध्यादेश जारी रखना, अर्धसैनिक बलों की तैनाती एवं राष्ट्रव्यापी सुरक्षा उपाय और पीड़िता के परिजनों को वित्तीय मुआवजा शामिल हैं।
एलएचएमसी आरडीए के अध्यक्ष डॉ सारदा प्रसाद साहू ने कहा, हम सरकार से इन मांगों को पूरा करने के लिए तेजी से और निर्णायक रूप से कार्य करने का आग्रह करते हैं। उन्होंने कहा, ऐसा करने में विफल रहने पर हमारे पास अपना विरोध तेज करने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचेगा क्योंकि हम किसी भी परिस्थिति में स्वास्थ्य पेशेवरों की सुरक्षा से समझौता नहीं कर सकते। वहीं, जीटीबी के उपाध्यक्ष डॉ पार्थ मिश्रा ने कहा, हमें भरोसा है कि भारत सरकार उन लोगों की सुरक्षा के लिए आवश्यक कदम उठाएगी जो दूसरों को बचाने के लिए अपना जीवन समर्पित करते हैं।