नई दिल्ली: कैंसरग्रस्त लिवर-पैंक्रियाज का इलाज बिना सर्जरी संभव : डॉ शिबानी मेहरा
नई दिल्ली: - मेडिकल छात्रों को मिला 'स्तर-2 अल्ट्रासाउंड तकनीक' का प्रशिक्षण

नई दिल्ली, 28 फरवरी। विकिरण ऊर्जा से शरीर के अंगों के एक्स-रे, अल्ट्रासाउंड, सीटी स्कैन, एमआरआई स्कैन और न्यूक्लियर मेडिसिन स्कैन ही नहीं होते हैं। बल्कि लिवर और पैंक्रियाज के कैंसर से ग्रस्त रोगियों के उपचार सर्जरी के बिना भी होते हैं।
यह जानकारी राम मनोहर लोहिया अस्पताल के विकिरण चिकित्सा विभाग की अध्यक्ष डॉ. शिबानी मेहरा ने एक शैक्षणिक संगोष्ठी में दी। उन्होंने कहा, रेडियोलॉजिस्ट एक ऐसा मेडिकल डॉक्टर होता है जो इमेजिंग उपकरणों का उपयोग करके शारीरिक रोग स्थितियों का निदान और उपचार करने में माहिर होता है। वह विकिरण ऊर्जा के जरिये लिवर और पैंक्रियाज के कैंसर से पीड़ित रोगियों के उन्नत कैंसर का इलाज कर सकता है जिसे एब्लेशन प्रोसीजर कहा जाता है। इसमें कैंसरग्रस्त कोशिकाओं को रेडियो तरंगों से जलाकर नष्ट कर दिया जाता है जिससे रोगी को कैंसर से मुक्ति मिल जाती है। वह बिना सर्जरी के ही ठीक हो जाता है। यानि उसकी जीवन प्रत्याशा में वृद्धि हो जाती है।
डॉ शिबानी मेहरा ने कहा, विकिरण ऊर्जा का इस्तेमाल करके शरीर के अंगों की तस्वीरें ही नहीं ली जाती हैं। बल्कि दुनिया में आने वाले किसी भी शिशु के शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य का भी पता लगाया जा सकता है। इसके लिए ‘स्तर-2 अल्ट्रासाउंड तकनीक’ का प्रयोग किया जाता है। इस तकनीक से गर्भवती महिलाओं का अल्ट्रासाउंड करके गर्भस्थ शिशु की शारीरिक और मानसिक बनावट का सटीक आकलन किया जा सकता है। जिसमें नवजात शिशु के कटे हुए होंठ से लेकर अन्य प्रभावित अंगों और डाउन सिंड्रोम तक की जानकारी मिलना शामिल है। संगोष्ठी में दिल्ली के विभिन्न चिकित्सा महाविद्यालयों से 120 रेजिडेंट डॉक्टर सम्मिलित हुए।
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