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प्रिंटर की कमी से ईएसआईसी अस्पताल में परेशानी

प्रिंटर की कमी से ईएसआईसी अस्पताल में परेशानी

अमर सैनी

नोएडा। सेक्टर-24 स्थित ईएसआईसी अस्पताल में पिछले एक सप्ताह से मरीजों को रेफर के लिए अपनी कंप्यूटर स्क्रीन की फोटो खींचकर प्रिंट करवाना पड़ रहा है। इसके बाद डॉक्टर के हस्ताक्षर के बाद रेफरल स्लिप बनाई जा रही है। अस्पताल में प्रिंटर की कमी के कारण मरीजों को यह परेशानी हो रही है। रोजाना 50 से अधिक मरीज इस परेशानी से जूझ रहे हैं।

सेक्टर-128 के गौरव को सर्जरी के लिए रेफर किया गया था। उन्हें डॉक्टर की कंप्यूटर स्क्रीन की फोटो खींचकर प्रिंटिंग शॉप से प्रिंट करवाना था। उन्होंने अस्पताल के कमरा नंबर 50 में जाकर रेफरल प्रक्रिया पूरी करवाई। इसी तरह कई अन्य मरीज रेफरल स्लिप लेकर लाइन में खड़े नजर आए। अस्पताल में कई चिकित्सा विभागों में प्रिंटर की कमी है। इसके कारण मरीजों को परेशानी हो रही है। अस्पताल में ईएसआईसी के नाम से ओपीडी और एडमिशन स्लिप भी नहीं है।अस्पताल का नाम न होने पर मरीजों को नाम-पता लिखकर इलाज के लिए डॉक्टर के पास भेजा जा रहा है। वहीं, निजी अस्पतालों ने कई रेफर मरीजों को लौटा दिया है। निजी अस्पताल प्रिंटआउट स्वीकार नहीं कर रहे हैं। ऐसे में ईएसआई अस्पताल प्रबंधन केवल रेफरल के दौरान ही इस पर्ची को स्वीकार करने की बात लिख रहा है। अस्पताल प्रबंधन का कहना है कि यह असुविधा जल्द ही समाप्त हो जाएगी। मरीजों को प्रिंटआउट के लिए बाहर नहीं जाना पड़ेगा।ईएसआईसी अस्पताल का कार्डियोलॉजी विभाग एक सप्ताह पहले बंद हो गया था। डॉक्टर का बांड समाप्त होने से यह समस्या उत्पन्न हुई। अब मरीजों को इलाज के लिए फरीदाबाद और दिल्ली के बसई दारापुर जाना पड़ रहा है। अस्पताल प्रबंधन डॉक्टरों की भर्ती के लिए साक्षात्कार कराने की बात कह रहा है।

एमआरआई जांच भी प्रभावित
अस्पताल में एमआरआई जांच भी प्रभावित है। कॉन्ट्रास्ट जांच एमआरआई नहीं हो पा रही है। इसके कारण कई मरीज प्रतिदिन जांच के लिए दूसरे ईएसआईसी अस्पतालों पर निर्भर हैं। इस सुविधा के अलावा अस्पताल में थायराइड जांच भी नहीं हो पा रही है।

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