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Ratha Yatra: दिल्ली में निकली भव्य जगन्नाथ रथ यात्रा, विधायक संजय गोयल ने निभाई मुख्य यजमान की भूमिका

Ratha Yatra: दिल्ली में निकली भव्य जगन्नाथ रथ यात्रा, विधायक संजय गोयल ने निभाई मुख्य यजमान की भूमिका

रिपोर्ट: रवि डालमिया

पूरे देश में जगन्नाथ यात्रा की भक्ति-लहर के बीच राजधानी दिल्ली भी इस पुण्य अवसर पर श्रद्धा और आस्था का केंद्र बन गई। पूर्वी दिल्ली के झिलमिल स्थित विश्वकर्मा नगर में श्री जगन्नाथ सेवा संस्थान द्वारा संचालित श्री जगन्नाथ मंदिर से शुक्रवार, 27 जून को भव्य रथ यात्रा निकाली गई, जिसमें हजारों श्रद्धालुओं ने भाग लिया। सुबह से ही मंदिर परिसर में भक्तों का तांता लगना शुरू हो गया था। श्रद्धालु भगवान जगन्नाथ, बलभद्र और सुभद्रा के दर्शन के लिए उमड़ पड़े। मंदिर प्रांगण को रंग-बिरंगे फूलों, झंडियों और लाइटों से सजाया गया था और भक्तों की सेवा में विभिन्न स्वयंसेवी टीमें जुटी हुई थीं। इस रथ यात्रा में भक्ति संगीत, कीर्तन मंडलियों और ढोल-नगाड़ों की गूंज ने माहौल को भक्तिमय बना दिया।

इस ऐतिहासिक रथ यात्रा का शुभारंभ श्री जगन्नाथ मंदिर से हुआ, जो विवेक विहार के विभिन्न क्षेत्रों से होती हुई मंदिर परिसर में ही समाप्त हुई। शाहदरा विधानसभा के विधायक संजय गोयल ने इस अवसर पर मुख्य यजमान के रूप में भाग लिया। उन्होंने सोने के झाड़ू से भगवान जगन्नाथ के रथ के आगे झाड़ू लगाकर अपनी सेवा और समर्पण भाव प्रकट किया।

विधायक संजय गोयल ने बताया कि “यह रथ यात्रा वर्ष 1978 से निरंतर हर वर्ष निकाली जा रही है। यह सिर्फ परंपरा नहीं, बल्कि लोगों की श्रद्धा, आस्था और सामूहिक चेतना का प्रतीक है।” उन्होंने रथ खींचने से पहले भगवान के चरणों में झुककर आशीर्वाद लिया और भक्तों से अपील की कि वे ऐसे धार्मिक आयोजनों में अधिक से अधिक भाग लें।

श्रद्धालुओं ने भी अपनी भावनाएं साझा करते हुए कहा कि वे पूरे साल इस यात्रा की प्रतीक्षा करते हैं। एक भक्त ने भावुक होकर कहा, “आज की सुबह हमारे लिए त्योहार से कम नहीं। भगवान जगन्नाथ की एक झलक के लिए हम घंटों भूखे-प्यासे भी खड़े रहने को तैयार हैं। उनकी यात्रा के साथ हमारे जीवन में सुख-शांति और नई ऊर्जा का प्रवेश होता है।” मंदिर प्रबंधन की ओर से विशेष कीर्तन, भंडारे और रथ सेवा के लिए व्यापक इंतज़ाम किए गए थे। सुरक्षा व्यवस्था में दिल्ली पुलिस भी पूरी तरह मुस्तैद रही, जिससे श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की असुविधा न हो।

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ममूटी ने कहा कि उन्हें ‘मेगास्टार’ की उपाधि पसंद नहीं है, उन्हें लगता है कि उनके जाने के बाद लोग उन्हें याद नहीं रखेंगे

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