उत्तर प्रदेश, नोएडा: विवाहिता की हत्या के मामले में बहनोई को नहीं मिली अग्रिम राहत
उत्तर प्रदेश, नोएडा: विवाहिता की हत्या के मामले में बहनोई को नहीं मिली अग्रिम राहत

अमर सैनी
उत्तर प्रदेश, नोएडा।गौतमबुद्धनगर सत्र न्यायालय ने दहेज हत्या के मामले में आरोपी बहनोई जयराम की अग्रिम जमानत अर्जी खारिज कर दी। मामला सेक्टर-39 नोएडा थाना क्षेत्र का है।
अभियोजन पक्ष के अनुसार वादी धनश्याम अहिरवार ने अपनी पुत्री सुमन की शादी वर्ष 2018 में अनिल नामक युवक से की थी। शादी में लगभग 12 लाख रुपये खर्च किए गए थे। शादी के बाद से ही पुत्री को अतिरिक्त दहेज की मांग पर प्रताड़ित किया जाता रहा। आरोपी कार और पांच लाख रुपये की मांग कर रहे थे।
पुत्री के पति अनिल के संबंध एक अन्य महिला से थे। जिसके कारण पति-पत्नी में झगड़े भी होते थे। घटना के दिन 30 दिसंबर 2024 की रात करीब दो बजे अनिल के पिता ने वादी को फोन कर बताया कि पुत्री की तबीयत खराब है। जब वादी नोएडा पहुंचे तब उन्हें सूचना मिली कि उनकी पुत्री को मारकर फंदे पर लटका दिया गया है।
बहनोई आरोपी जयराम पर आरोप है कि उसने भी मृतका को मानसिक व शारीरिक रूप से प्रताड़ित किया और दहेज की मांग में सह-आरोपी आरोपी व अन्य के साथ मिलकर भूमिका निभाई। बचाव पक्ष की ओर से तर्क दिया गया कि आरोपी निर्दोष है। उसका मृतका या सह-आरोपी अनिल से कोई लेना-देना नहीं है। घटना के समय वह का मौके पर नहीं था। केवल रिश्तेदारी के आधार पर उसे झूठा फंसाया गया है।
वहीं, अभियोजन पक्ष ने जोर देकर कहा कि मृतका को दहेज के लिए लंबे समय तक प्रताड़ित किया गया और आखिरकार उसकी हत्या कर दी गई। आरोपी का नाम प्राथमिकी में स्पष्ट रूप से दर्ज है। उसने अब तक जांच में सहयोग भी नहीं किया है। दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद कोर्ट ने आरोपी की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी।
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