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 उत्तर प्रदेश, नोएडा: नोएडा वृद्धाश्रम की आवंटन के 16 साल बाद कराई रजिस्ट्री

 उत्तर प्रदेश, नोएडा: -जुर्माना बचाने के लिए लगाई थी बड़े नेताओं की सिफारिश, समाज कल्याण विभाग ने मांगा जवाब

अजीत कुमार

 उत्तर प्रदेश, नोएडा। नोएडा के सेक्टर-55 में संचालित वृद्ध आश्रम लिए भूखंड का आवंटन 1993 में किया गया था। भूखंड के आवंटी ट्रस्ट ने करीब 16 साल बाद 2009 में रजिस्ट्री कराई। नोएडा प्राधिकरण ने 23 मार्च 1993 को जनकल्याण ट्रस्ट को सी-5 बी, सेक्टर-55 भूखंड का आवंटन किया था। यह ट्रस्ट कागजों में बी-202, सेक्टर-26 के पते पर पंजीकृत था। उस समय कागजों में 3100 वर्ग मीटर का भूखंड था। यह आवंटन 600 रुपए प्रति वर्ग मीटर की दर से किया गया था।

नोएडा प्राधिकरण की ओर से मौके पर कब्जा देते समय भूखंड का एरिया बढ़कर कुल 3293 मीटर हो गया। ऐसे में भूखंड की कीमत के रूप में ट्रस्ट ने 19 लाख 75 हजार 202 रुपए जमा किए। भूखंड आवंटित कराने के बाद ट्रस्ट ने कुछ समय तक लीज रेंट जमा नहीं किया और भूखंड की रजिस्ट्री भी नहीं कराई। तय समय में रजिस्ट्री नहीं कराने पर जुर्माना लगना शुरू हो गया।
इन धनराशि को जमा करने से बचने के लिए ट्रस्ट ने उस समय बड़े राजनीतिक दलों के नेताओं से सिफारिश लगवाई। कांग्रेस सरकार में केंद्रीय मंत्री व बाद में पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष रहे एक बड़े नेता ने यूपी के मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर इसको माफ करने का आग्रह किया। इस पत्र के मांग के आधार पर उस समय के मुख्यमंत्री ने 17 फरवरी 1995 को नोएडा प्राधिकरण को भी पत्र लिखा लेकिन कोई सिफारिश काम नहीं आई। ट्रस्ट को पूरा पैसा जमा करना पड़ा। 1990 के आसपास यह आश्रम सेक्टर-12 के जेड ब्लॉक में चलता था।

पांच दिन में मांगा जवाब
समाज कल्याण विभाग ने आश्रम के ट्रस्टी को नोटिस जारी कर पांच दिन में दस्तावेज देकर अपना पक्ष रखने का अल्टीमेटम दिया गया है। उसके बाद सीलिंग की जाएगी। समाज कल्याण विभाग की पर्यवेक्षक ने आगे बताया कि एक-एक करके आनंद निकेतन वृद्धाश्रम से सभी बुजुर्गों को निकाला जाएगा और उन्हें जिले के अलग-अलग हिस्से में संचालित हो रहे आश्रम में शिफ्ट किया जाएगा। इसके लिए उनके परिजनों और अभिभावकों से संपर्क किया जाएगा।

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