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उत्तर प्रदेश : योगी सरकार के “हर खेत को पानी” संकल्प को साकार कर रहीं नई 29 सिंचाई परियोजनाएं, 43 लाख से अधिक किसानों को खेती के लिए मिल रहा पर्याप्त पानी

योगी सरकार ने पिछले आठ वर्षों में प्रदेश में जल संसाधनों के क्षेत्र में ऐतिहासिक...

Lucknow News : योगी सरकार ने पिछले आठ वर्षों में प्रदेश में जल संसाधनों के क्षेत्र में ऐतिहासिक कदम उठाए हैं। योगी सरकार ने हर खेत को पानी पहुंचाने के संकल्प को साकार करते हुए पिछले आठ वर्षों में 29 महत्वपूर्ण सिंचाई परियोजनाओं को पूरा किया है। इससे जहां एक ओर प्रदेश के 43,53,850 किसानों को लाभ मिल रहा है, वहीं दूसरी ओर प्रदेश में 19,11,231 हेक्टेयर की सिंचन क्षमता में वृद्धि हुई है। योगी सरकार का यह कदम न केवल प्रदेश की कृषि उत्पादन क्षमता को बढ़ाने वाला है, बल्कि बाढ़ नियंत्रण और जल संरक्षण के क्षेत्र में भी मील का पत्थर है।

7 वृहद परियोजनाओं को किया गया पूरा

सीएम योगी आदित्यनाथ के हर खेत को पानी विजन की दिशा में प्रदेशभर में लगातार काम किया जा रहा है। इसके तहत पिछले आठ वर्षों में 7 वृहद सिंचाई परियोजनाओं में बाणसागर नहर परियोजना, लहचूरा बांध परियोजना, पहाड़ी बांध परियोजना, सरयू नहर राष्ट्रीय परियोजना, अर्जुन सहायक नहर परियोजना, उत्तर प्रदेश वाटर रिस्ट्रक्चरिंग परियोजना फेज-2 और उमरहठ पम्प परियोजना द्वितीय चरण को पूरा किया गया है। इससे मीरजापुर, प्रयागराज, महोबा, हमीरपुर, बहराइच, गोंडा, बलरामपुर, श्रावस्ती, सिद्धार्थनगर, संतकबीरनगर, बस्ती, गोरखपुर, महराजगंज, बांदा, अमेठी, रायबरेली, इटावा, एटा, कन्नौज, कानपुर देहात, कासगंज, कौशांबी, फतेहपुर, फर्रूखाबाद, फिरोजाबाद, बाराबंकी, मैनपुरी एवं ललितपुर के 42,28,355 किसानों को लाभ मिल रहा है। वहीं 18,41,932 हेक्टेयर सिंचन क्षमता में वृद्धि हुई है।

मध्यम सिंचाई परियोजना से यहां के किसानों को मिल रहा लाभ

इसी तरह पिछले आठ वर्षों में 16 मध्यम श्रेणी की सिंचाई परियोजनाएं पूरी की गईं। इनमें उटारी बांध परियोजना, मौदहा बांध नहर प्रणाली की क्षमता की पुर्नस्थापना, पहुंज बांध पुनरोद्धार परियोजना, गुंता बांध पुनरोद्धार रिस्टोरेशन/रेनोवेशन परियोजना, जमरार बांध नहर परियोजना, पंडित दीनदयाल उपाध्याय पथरई बांध परियोजना, भावनी बांध परियोजना, बंडई बांध परियोजना, रसिन बांध परियोजना, बबीना ब्लॉक के 15 ग्रामों को सिंचाई सुविधा उपलब्ध कराने की परियोजना, घोरी नहर के पुनरोद्धार परियोजना, लखेरी बांध के अवशेष कार्यों की परियोजना, जनपद रामपुर में नाहल बैराज की निर्माण तथा नाहल नहर प्रणाली की पुर्नस्थापना के कार्य की परियोजना, बडवार झील के गुरसंराय मुख्य नहर के 45 किमी से भरने के लिए फीडर चैनल परियोजना, कुलपहाड़ स्प्रिंक्लर सिंचाई परियोजना और जनपद महराजगंज स्थित रोहिन नदी पर रोहिन बैराज के निर्माण कार्य की परियोजना शामिल है। इससे ललितपुर, हमीरपुर, झांसी, चित्रकूट (कर्बी), मीरजापुर, रामपुर, महोबा, महराजगंज के 97,312 किसानों को लाभ मिल रहा है। वहीं 64,104 हेक्टेयर सिंचन क्षमता में वृद्धि हुई है।

लघु सिंचाई परियोजना से महाेबा, मीरजापुर, हमीरपुर के किसानों को मिल रहा लाभ

इसके अलावा प्रदेश में पिछले आठ वर्षों में 6 लघु सिंचाई परियोजनाएं पूरी की गई हैं। इनमें जाखलौन नहर प्रणाली क्षमता पुर्नस्थापना, रतौली वीयर परियोजना, मसगांव एवं चिल्ली स्प्रिंकलर सिंचाई परियोजना, जरगो नहर प्रणाली के नहरों की पुर्नस्थापना, बकहर मड़िहान पोषक नहर के पुनरोद्धार की परियोजना और बिरोहिया पिकअप वियर के पुर्ननिर्माण एवं भरपुरा रजवाहा पुनरोद्धार परियोजना शामिल हैं। इससे ललितपुर, महोबा, हमीरपुर, मीरजापुर के 28,183 किसानों को लाभ मिल रहा है। वहीं 5,195 हेक्टेयर सिंचन क्षमता में वृद्धि हुई है। बता दें कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का मानना है कि “किसानों की समृद्धि से ही प्रदेश की समृद्धि संभव है।” इसी सोच को धरातल पर उतारते हुए योगी सरकार ने दशकों से अटकी परियोजनाओं को समयबद्ध तरीके से पूरा किया। इन परियोजनाओं को आधुनिक तकनीक से जोड़ा गया, जिससे निगरानी, पारदर्शिता और कार्यक्षमता में वृद्धि हुई।

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