नई दिल्ली, 27 अगस्त : प्रमुख रक्षा अध्यक्ष (सीडीएस) जनरल अनिल चौहान ने बुधवार को कहा, अधिक संयुक्त सिद्धांत तैयार करना, तीनों सेनाओं के बीच एकीकरण बढ़ाना और सैन्य प्रशिक्षण संस्थानों के लिए नागरिक विशेषज्ञों की नियुक्ति करना कुछ ऐसे क्षेत्र हैं जिन पर सशस्त्र बल समग्रता के साथ आगे बढ़ने के लिए काम कर रहे हैं।
वह मध्य प्रदेश के डॉ. अंबेडकर नगर स्थित आर्मी वॉर कॉलेज में आयोजित त्रि-सेवा सेमिनार ‘रण संवाद’ में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि ‘‘हमने लगभग 196 गतिविधियों की पहचान की है जिन्हें एकीकृत करने की आवश्यकता है, जिनमें से लगभग 56 पूरी हो चुकी हैं। सीडीएस ने विशेष बल और एयरबोर्न एवं हेलीबोर्न संचालन के लिए संयुक्त सिद्धांतों का विमोचन भी किया। कार्यक्रम में नौसेना प्रमुख एडमिरल दिनेश के त्रिपाठी, वायु सेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह और थल सेना उप प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल पुष्पेंद्र सिंह भी उपस्थित रहे।
जनरल चौहान ने कहा, तीनों सेनाओं की सक्रिय भागीदारी से एकीकृत रक्षा स्टाफ मुख्यालय ( आईडीएस ) के डॉक्ट्रिन डायरेक्टरेट के तत्वावधान में तैयार किए गए ये सिद्धांत विशेष बल मिशनों और हवाई अभियानों के संचालन के लिए मार्गदर्शन, परिचालन अवधारणाओं और अंतर-संचालन ढांचे को निर्धारित करेंगे। साथ ही उभरते युद्धक्षेत्र में योजनाकारों, कमांडरों और ऑपरेटरों के लिए महत्वपूर्ण संदर्भ के रूप में काम करेंगे।
सीडीएस ने कहा,दुर्भाग्य से आईडीएस की सिद्धांत लिखने की गति… दो साल में एक संयुक्त सिद्धांत लिखने की थी। लेकिन, अब चीजें तेजी से बदल रही हैं, मैं एक वर्ष में लगभग 8-9 सिद्धांत लिखने का प्रयास कर रहा हूं। जनरल चौहान ने कहा कि सशस्त्र बल एक अन्य सुधार का प्रयास कर रहे हैं, जो सरकार के मिशन कर्मयोगी पोर्टल के समान ऑनलाइन प्रशिक्षण और परीक्षण मॉड्यूल विकसित करना है। उन्होंने कहा,‘हम तीनों सेनाओं के लिए इसी प्रकार के मॉडल लागू करने जा रहे हैं।





