Premanand Maharaj Health Update 2025: सूजी आंखें और लाल चेहरा देखकर भक्त हुए भावुक, संत बोले – “कष्ट में भी सेवा हमारा अभ्यास है”
Premanand Maharaj Health Update: वृंदावन के प्रसिद्ध संत प्रेमानंद महाराज की तबियत इन दिनों ठीक नहीं है। वायरल वीडियो में उनकी आंखें सूजी और चेहरा लाल नजर आ रहा है। इसके बावजूद उन्होंने देर रात भक्तों को प्रवचन दिया और कहा – “कष्ट में भी सेवा हमारा अभ्यास है।”

Premanand Maharaj Health Update: वृंदावन के प्रसिद्ध संत प्रेमानंद महाराज की तबियत इन दिनों ठीक नहीं है। वायरल वीडियो में उनकी आंखें सूजी और चेहरा लाल नजर आ रहा है। इसके बावजूद उन्होंने देर रात भक्तों को प्रवचन दिया और कहा – “कष्ट में भी सेवा हमारा अभ्यास है।”
Premanand Maharaj की तबियत बिगड़ी, वायरल वीडियो से भक्त चिंतित
वृंदावन के सुप्रसिद्ध संत प्रेमानंद जी महाराज (Premanand Maharaj) इन दिनों स्वास्थ्य समस्याओं से जूझ रहे हैं। सोशल मीडिया पर वायरल एक वीडियो में संत काफी कमजोर नजर आ रहे हैं। उनकी आंखें सूजी हुई और चेहरा लाल दिखाई दे रहा है। इसके बावजूद उन्होंने देर रात भक्तों को प्रवचन दिया।
इस वीडियो के सामने आने के बाद से लाखों भक्तों में चिंता का माहौल है। संत की नियमित पदयात्रा भी अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दी गई है।
वीडियो में बोले Premanand Maharaj – “कष्ट में भी सेवा नहीं छोड़ते”
वायरल वीडियो में प्रेमानंद महाराज अपने श्रद्धालुओं से कहते हैं —
“यह हमारा अभ्यास बन चुका है। हम कितने भी कष्ट में क्यों न हों, यह अभ्यास नहीं छूटता। जब तक अपने आराध्य को याद नहीं कर लेते, हमें चैन नहीं पड़ता।”
उन्होंने आगे कहा —
“ईश्वर आपका श्रम देखकर खुश होते हैं, कामचोरी देखकर नहीं। जब ईश्वर आपका परिश्रम देखते हैं, तभी वह हाथ पकड़ते हैं।”
उनकी यह बात सुनकर उपस्थित भक्त भावुक हो गए।
सोशल मीडिया पर उमड़ा भक्तों का प्यार
जैसे ही वीडियो bhajanmarg_official इंस्टाग्राम पेज पर साझा हुआ, भक्तों ने भावनात्मक प्रतिक्रियाएं दीं।
एक यूजर ने लिखा — “गुरुजी, कृपया थोड़ा आराम कर लीजिए।”
दूसरे ने कहा — “आपको इस हालत में देखकर मन दुखी हो गया।”
वहीं एक भक्त ने लिखा — “आपका चेहरा देखकर हमेशा मुस्कान आती थी, लेकिन आज आंखें नम हो गईं।”
बीमारी का पता कब चला?
साल 2006 में Premanand Maharaj को पेट दर्द की शिकायत हुई, जिसके बाद कानपुर में मेडिकल जांच कराई गई। रिपोर्ट में सामने आया कि उन्हें Polycystic Kidney Disease (आनुवांशिक किडनी रोग) है।
दिल्ली में डॉक्टरों ने बताया कि उनकी दोनों किडनी खराब हो चुकी हैं और जीवन सीमित है।
इसके बाद उन्होंने काशी से वृंदावन का रुख किया और राधा नाम के जप में लीन हो गए।
संत ने अपनी दोनों किडनियों का नाम ‘कृष्णा’ और ‘राधा’ रखा है।
राधा नाम के प्रचारक और श्रद्धालुओं के प्रेरणास्रोत
संत Premanand Maharaj ने अपने सत्संगों के जरिए लाखों लोगों को सांसारिक और आध्यात्मिक जीवन का मार्ग दिखाया है।
वे कहते हैं —
“जब तक हम राधा नाम का स्मरण करते रहेंगे, तब तक जीवन का उद्देश्य बना रहेगा।”
उनकी शिक्षाओं से प्रेरित होकर देश-विदेश से भक्त वृंदावन पहुंचते हैं।
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