Mathura Flood: मथुरा में बाढ़ की तैयारी, डीएम ने अधिकारियों को दिए सख्त निर्देश

Mathura Flood: मथुरा में बाढ़ की तैयारी, डीएम ने अधिकारियों को दिए सख्त निर्देश
मथुरा में यमुना नदी का जलस्तर लगातार बढ़ने से बाढ़ का खतरा मंडराने लगा है। इस स्थिति को देखते हुए जिलाधिकारी चंद्र प्रकाश सिंह और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक श्लोक कुमार ने जिला बाढ़ योजना समिति की आपातकालीन बैठक बुलाई। बैठक में बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में राहत कार्यों की तैयारियों की गहन समीक्षा की गई और अधिकारियों को स्पष्ट दिशा-निर्देश दिए गए। जिलाधिकारी ने सभी उप-जिलाधिकारियों को निर्देश दिया कि वे गाँवों में बैठक कर ग्राम स्तर पर टीमें बनाएं, जिनमें पंचायती राज, स्वास्थ्य, राजस्व, पुलिस, पशुपालन और विद्युत विभागों के अधिकारी शामिल होंगे। इन टीमों को बाढ़ प्रभावित परिवारों की मदद और राहत कार्यों की जिम्मेदारी सौंपी जाएगी।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी को सभी राहत शिविरों में स्वास्थ्य टीमें, एंबुलेंस और आवश्यक दवाएं उपलब्ध कराने का आदेश दिया गया है। साथ ही एंटी-लार्वा छिड़काव और एंटी-स्नेक वेनम की उपलब्धता सुनिश्चित करने पर भी जोर दिया गया। अनुमान है कि 4 से 6 सितंबर 2025 के बीच यमुना का जलस्तर अपने चरम पर पहुंचेगा। इसको ध्यान में रखते हुए प्रशासन ने बाढ़ प्रभावित परिवारों और उनके पशुओं को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट करने की तैयारी शुरू कर दी है। जिला पूर्ति अधिकारी को बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में पहले से राशन पहुंचाने के निर्देश दिए गए, ताकि किसी को भोजन की समस्या न हो।
वहीं, मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी को पशुओं के लिए हरा चारा, भूसा और पानी की पर्याप्त व्यवस्था करने को कहा गया। प्रशासन का लक्ष्य इस बार 10 हजार पशुओं को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने का है। सिंचाई विभाग को यमुना के जलस्तर पर लगातार निगरानी रखने और समय-समय पर प्रशासन को जानकारी देने का निर्देश दिया गया है। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक श्लोक कुमार ने पुलिस को अलर्ट मोड पर रखते हुए बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों की सड़कों पर बैरिकेडिंग लगाने और आवागमन नियंत्रित करने का आदेश दिया है। बैठक में मौजूद अधिकारियों ने आश्वासन दिया कि सभी तैयारियों का स्वयं निरीक्षण किया जाएगा। जिलाधिकारी ने स्पष्ट किया कि इस आपदा की स्थिति में किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी और प्रशासन पूरी तरह मुस्तैद है।