Varanasi railway division: बरेका की ऐतिहासिक उड़ान, 2500वें विद्युत रेल इंजन का राष्ट्र को समर्पण, तकनीक और आत्मनिर्भरता की अनूठी मिसाल

Varanasi railway division: बरेका की ऐतिहासिक उड़ान, 2500वें विद्युत रेल इंजन का राष्ट्र को समर्पण, तकनीक और आत्मनिर्भरता की अनूठी मिसाल
रिपोर्ट: अभिषेक ब्याहुत
19 जुलाई 2025 को बनारस रेल इंजन कारखाना (बरेका), वाराणसी ने भारतीय रेलवे के इतिहास में एक स्वर्णिम अध्याय जोड़ा। बरेका ने 2500वें विद्युत रेल इंजन का निर्माण पूर्ण कर उसे राष्ट्र को समर्पित किया, जो तकनीकी उत्कृष्टता, नवाचार और आत्मनिर्भर भारत की भावना का सशक्त प्रतीक बन गया।
इस गौरवशाली क्षण का भव्य आयोजन बरेका परिसर में हुआ, जहाँ महाप्रबंधक नरेश पाल सिंह ने विशेष उत्साह के साथ इस ऐतिहासिक इंजन को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। इस लोकोमोटिव का निर्माण न केवल एक तकनीकी उपलब्धि है, बल्कि यह बरेका की उस प्रतिबद्धता को भी दर्शाता है, जिसके तहत भारतीय रेलवे को विश्वस्तरीय तकनीक और गुणवत्ता से युक्त इंजन प्रदान किए जा रहे हैं।
कार्यक्रम में नेशनल प्रेस पार्टी के 44 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल ने कार्यकारी निदेशक (सूचना एवं प्रचार) दिलीप कुमार के नेतृत्व में भाग लिया। ‘हॉल ऑफ फेम’ में बरेका की विकास यात्रा, नवाचार, हरित ऊर्जा, निर्यात की सफलता और स्वदेशीकरण की दिशा में किए गए कार्यों पर आधारित एक प्रभावशाली प्रस्तुति दी गई। इसके पश्चात प्रतिनिधियों ने उत्पादन कर्मशालाओं का भ्रमण कर निर्माण प्रक्रिया को प्रत्यक्ष देखा।
इस अवसर को और भी विशेष बना दिया बरेका की महिला कार्यबल की सक्रिय भागीदारी ने। महाप्रबंधक ने अनिता देवी (फिटर), श्रुति श्रीवास्तव (सहायक), मो. निजामुद्दीन (एसएसई) और कृष्ण कुमार (एमसीएम) के साथ मिलकर 2500वें लोको को रवाना किया। यह दृश्य न केवल महिला सशक्तिकरण का प्रतीक बना, बल्कि यह संदेश भी दिया कि राष्ट्र निर्माण में नारी शक्ति की भूमिका कितनी महत्वपूर्ण है।
2017 में जहां बरेका ने मात्र दो विद्युत रेल इंजन का निर्माण किया था, वहीं मात्र आठ वर्षों में यह आंकड़ा 2500 तक पहुंच गया। यह एक अभूतपूर्व उपलब्धि है, जो संस्थान की उत्पादन क्षमता, समर्पण और सतत सुधार की नीति को दर्शाती है। कुल मिलाकर अब तक बरेका 10,822 लोकोमोटिव का निर्माण कर चुका है, जिसमें 7498 डीजल इंजन, 2500 इलेक्ट्रिक इंजन, 641 डीजल इंजन गैर-रेलवे ग्राहकों के लिए, 174 डीजल इंजन विदेशों में निर्यात, एक ड्यूल ट्रैक्शन इंजन और 8 कन्वर्जन इंजन शामिल हैं।
वित्तीय वर्ष 2024-25 में बरेका ने 472 इलेक्ट्रिक लोको का रिकॉर्ड निर्माण किया, जो आत्मनिर्भर भारत की दिशा में एक अहम मील का पत्थर है। इस वर्ष का 2500वां इंजन WAP-7 श्रेणी का है, जो 6000 हॉर्स पावर, वातानुकूलित कैब, रीजेनेरेटिव ब्रेकिंग और 140 किमी प्रति घंटे की गति क्षमता से युक्त है। इसे दक्षिण पश्चिम रेलवे के कृष्णराजपुरम शेड को भेजा जा रहा है।
बरेका की पहचान अब वैश्विक क्षितिज पर भी स्थापित हो चुकी है। हाल ही में मोज़ाम्बिक रेलवे ने बरेका से 10 आधुनिक डीजल-इलेक्ट्रिक लोकोमोटिव का ऑर्डर दिया है। इनमें से दो इंजन जून 2025 में भेजे जा चुके हैं और शेष आठ का निर्माण दिसंबर 2025 तक पूरा कर लिया जाएगा।
इस गौरवशाली आयोजन में बरेका के सभी प्रमुख अधिकारी – विवेक शील (प्रमुख मुख्य यांत्रिक इंजीनियर), आलोक अग्रवाल (प्रमुख मुख्य सामग्री प्रबंधक), विनोद कुमार शुक्ल (प्रमुख मुख्य इंजीनियर), मुक्तेश मित्तल (प्रधान वित्त सलाहकार), लालजी चौधरी (प्रमुख मुख्य कार्मिक अधिकारी, प्रशासन), डॉ. देवेश कुमार (प्रमुख मुख्य चिकित्सा अधिकारी), देवराज कुमार मौर्य (महानिरीक्षक सह प्रमुख मुख्य सुरक्षा आयुक्त), अंकुर चंद्रा (मुख्य सतर्कता अधिकारी), मनोज कुमार गुप्ता (मुख्य विद्युत इंजीनियर), अनुराग कुमार गुप्ता (मुख्य अभिकल्प इंजीनियर – विद्युत), अनुज कटियार (उप महाप्रबंधक एवं मुख्य जन संपर्क अधिकारी), राजेश कुमार (जन संपर्क अधिकारी) सहित सैकड़ों अधिकारी-कर्मचारी उपस्थित रहे। उनकी उपस्थिति और सहभागिता ने इस क्षण को अविस्मरणीय बना दिया।