
नई दिल्ली, 17 मार्च : मस्कुलोस्केलेटल सिस्टम यानि शरीर की हड्डियों, मांसपेशियों, जोड़ों, लिगामेंट, टेंडन, कार्टिलेज और दूसरे संयोजी ऊतकों से जुड़े विकारों का इलाज सर्जरी के बिना भी संभव है। यह जानकारी राम मनोहर लोहिया अस्पताल के रेडियोलॉजी विभाग की प्रमुख डॉ शिबानी मेहरा ने सोमवार को दी।
उन्होंने बताया कि आज के दौर में रेडियोलोजी में कुछ ऐसी नई तकनीक आ गई हैं जिसके उपयोग से बिना सर्जरी मरीज को मस्कुलोस्केलेटल सिस्टम से संबंधित कई बीमारियों से छुटकारा मिल सकता है। जिनमें कार्पल टनल सिंड्रोम (हाथ और उंगलियों में सुन्नता, झुनझुनी या दर्द होना), डी क्वेरवेन टेनोसिनोवाइटिस (अंगूठे के टेंडन के आसपास दर्द और सूजन होना), इलियोटिबियल बैंड सिंड्रोम ( घुटने के बाहरी हिस्से में दर्द होना जो अक्सर धावकों और अन्य एथलीटों में होता है) और पेरी अर्थराइटिस (जोड़ों के आस-पास सूजन आना) जैसी बीमारियां प्रमुख हैं। इस अवसर पर अतिरिक्त चिकित्सा अधीक्षक डॉ मनोज झा मौजूद रहे।
डॉ मेहरा ने बताया कि अस्पताल के शैक्षणिक सेक्शन में दिल्ली -एनसीआर के करीब 250 रेडियोलॉजिस्ट्स को मांसपेशियों और हड्डी रोग से संबंधित अल्ट्रासाउंड के जरिये हैंड्स-ऑन ट्रेनिंग प्रदान की गई। इसके तहत डॉक्टरों को रेडियोलॉजी की नई तकनीकों की सिर्फ सैद्धांतिक और शैक्षणिक जानकारी देने की बजाय वास्तविक कार्यों में सक्रिय रूप से शामिल करके प्रशिक्षण दिया जाता है। यह प्रशिक्षण आरएमएल और सफदरजंग अस्पताल के एक्सपर्ट रेडियोलॉजिस्ट के अलावा इंडियन रेडियोलॉजी इमेजिंग एसोसिएशन दिल्ली चैप्टर के अध्यक्ष डॉ राघव अग्रवाल और पीजीआई चंडीगढ़ के रेडियोलॉजिस्ट डॉ महेश प्रकाश ने प्रदान किया।
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