Delhi: निजी स्कूल छात्रों को किताबें और यूनिफॉर्म खरीदने के लिए मजबूर नहीं कर सकते – शिक्षा मंत्री आशीष सूद

Delhi: निजी स्कूल छात्रों को किताबें और यूनिफॉर्म खरीदने के लिए मजबूर नहीं कर सकते – शिक्षा मंत्री आशीष सूद
रिपोर्ट: अभिषेक ब्याहुत
नई दिल्ली, 26 मार्च 2025: दिल्ली के शिक्षा, उच्च शिक्षा, प्रशिक्षण एवं तकनीकी शिक्षा मंत्री श्री आशीष सूद ने निजी स्कूलों द्वारा छात्रों को यूनिफॉर्म, किताबें और अन्य लेखन सामग्री जबरदस्ती खरीदवाने के मामलों पर कड़ा रुख अपनाया है। उन्होंने कहा कि शिक्षा का अधिकार (RTE) अधिनियम, 2009 के तहत कोई भी निजी स्कूल छात्रों को किसी विशेष वेंडर से इन चीजों को खरीदने के लिए मजबूर नहीं कर सकता। उन्होंने शिक्षा निदेशालय को इस मामले में सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।
श्री सूद ने बताया कि छात्रों और अभिभावकों की शिकायतों को देखते हुए शिक्षा निदेशालय ने 24 मार्च को राष्ट्रीय राजधानी के सभी निजी स्कूलों को आदेश जारी किया है। इसके तहत निजी स्कूल न तो जबरन किताबें और यूनिफॉर्म खरीदने के लिए कह सकते हैं और न ही इसके लिए किसी दुकानदार को अनिवार्य कर सकते हैं। इसके बावजूद यदि कोई स्कूल इस नियम का उल्लंघन करता है तो उसके खिलाफ दिल्ली स्कूल शिक्षा अधिनियम (DSEAR) 1973 और BNS के तहत कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
शिकायतों के लिए हेल्पलाइन और ईमेल जारी
शिक्षा विभाग ने अभिभावकों की शिकायतों के समाधान के लिए एक नोडल अधिकारी नियुक्त किया है। शिकायतें दर्ज कराने के लिए हेल्पलाइन नंबर 9818154069 और ईमेल आईडी ddeact1@gmail.com जारी की गई है।
स्कूलों को नियमों का पालन अनिवार्य
श्री आशीष सूद ने कहा कि दिल्ली सरकार प्रत्येक बच्चे को समान रूप से गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि कोई स्कूल ईडब्ल्यूएस कोटे या सामान्य वर्ग के छात्रों के अधिकारों का उल्लंघन करता है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
स्कूलों के लिए अनिवार्य निर्देश
प्रत्येक स्कूल को किताबों, शिक्षा सामग्री और आवश्यक वस्तुओं की सूची नोटिस बोर्ड और आधिकारिक वेबसाइट पर जारी करनी होगी।
स्कूलों को सुनिश्चित करना होगा कि कोई भी छात्र गैर-जरूरी शिक्षा सामग्री खरीदने के लिए मजबूर न किया जाए।
प्रत्येक स्कूल आगामी सत्र के लिए प्रस्तावित किताबों और लेखन सामग्री की सूची कक्षा अनुसार वेबसाइट पर प्रदर्शित करेगा।
स्कूलों को यूनिफॉर्म की स्पेसिफिकेशन भी सार्वजनिक करनी होगी।
शिक्षा मंत्री ने स्पष्ट किया कि इन निर्देशों का पालन न करने वाले स्कूलों पर सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी ताकि छात्रों और उनके अभिभावकों को किसी भी प्रकार की अनावश्यक वित्तीय बोझ से बचाया जा सके।
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