उत्तर प्रदेश, नोएडा: ठगी के दो मामले में पुलिस ने सवा करोड़ रुपये कराए फ्रीज
उत्तर प्रदेश, नोएडा: ठगी के दो मामले में पुलिस ने सवा करोड़ रुपये कराए फ्रीज

अजीत कुमार
उत्तर प्रदेश, नोएडा। ठगी के दो अलग-अलग मामले में साइबर क्राइम थाने की पुलिस ने सवा करोड़ रुपये फ्रीज कराए हैं। शेष रकम को फ्रीज कराने का प्रयास किया जा रहा है। दोनों मामले में पीड़ितों के साथ करीब दस करोड़ रुपये की ठगी हुई थी। पुलिस दोनों मामले की जांच कर साइबर ठगों तक पहुंचने का प्रयास कर रही है। डीसीपी साइबर प्रीति यादव ने बताया कि बीते दिनों डेटिंग ऐप पर दोस्त बनी महिला के कहने पर एक कंपनी के निदेशक ने निवेश कर मोटा मुनाफा कमाने के चक्कर में साढ़े छह करोड़ रुपये से अधिक की रकम गंवा दी। महिला ठग गिरोह की सदस्य थी और नजदीकी बढ़ाकर तलाकशुदा कारोबारी को झांसे में लिया था। मामले की जांच कर रही साइबर क्राइम थाने की टीम ने ठगी की कुल रकम में से 72 लाख रुपये को फ्रीज करा दिया है। रकम देश के अलग-अलग हिस्से में खुले खाते में ट्रांसफर की गई थी। जिन बैंक खातों में ठगी की रकम ट्रांसफर हुई थी, वहां के प्रबंधन को नोएडा पुलिस ने पत्र लिखकर जानकारी मांगी थी। बैंक को शक न हो इसलिए योजना के तहत कारोबारी से अलग-अलग खातों में पैसे डलवाए गए थे। एक अन्य मामले में सरकारी प्रोजेक्ट के संबंध में सिक्योरिटी मनी जमा करने के नाम पर साइबर ठगों ने बिजनेस सर्विस देने वाली एक कंपनी के साथ साढ़े तीन करोड़ रुपये की ठगी कर ली। बिजनेस सर्विस देने वाली कंपनी के निदेशक को सह निदेशक ने मोबाइल नंबर बदलने की बात कहकर ठगी की। इस मामले में भी पुलिस ने ठगी की 52 लाख रुपये की रकम फ्रीज करा दी है। ठगी की कुछ रकम किराये के खातों में भी ट्रांसफर होने की जानकारी सामने आई है। डीसीपी साइबर ने बताया कि अगर ठगी की एक घंटे के भीतर शिकायत कर दी जाए तो रकम वापसी की संभावनाएं 80 प्रतिशत तक बढ़ जाती है। कुछ ही समय बाद फ्रीज हुई रकम पीड़ित के खाते में वापस आ जाती है।