ग्रुप हाउसिंग योजना में दो भूखंडों की ई-नीलामी से मिले 246 करोड़, ₹1000 करोड़ निवेश मिला
ग्रुप हाउसिंग योजना में दो भूखंडों की ई-नीलामी से मिले 246 करोड़, ₹1000 करोड़ निवेश मिला
अमर सैनी
नोएडा। यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (YEIDA) ने अपनी ग्रुप हाउसिंग भूखंड योजना के तहत दो बड़े भूखंडों की ई-नीलामी सफलतापूर्वक संपन्न की है। यह जानकारी शुक्रवार को प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी डॉक्टर अरुणवीर सिंह ने दी। इस नीलामी से 246,44,19,000 रुपये राजस्व मिला है। बड़ी बात यह है कि इन दोनों ग्रुप हाउसिंग प्रोजेक्ट को हासिल करने के लिए चार बड़ी रियल एस्टेट कंपनियों के बीच प्रतिस्पर्धा देखने के लिए मिली।
पहला भूखंड: यह भूखंड सेक्टर 22डी में है। इसका क्षेत्रफल: 40,000 वर्ग मीटर है। सफल बोलीदाता कंपनी मेसर्स पूर्वांचल प्रोजेक्ट्स प्राइवेट लिमिटेड है। कंपनी में अधिकतम बोली मूल्य 149,57,46,000 रुपये (एक सौ उनचास करोड़ सत्तावन लाख छियालीस हजार रुपये) लगाया है। इस भूखंड का आरक्षित मूल्य 142,45,20,000 रुपये निर्धारित किया गया था। दूसरे स्थान पर मेसर्स ऐस इंफ्रासिटी डेवलपर्स प्राइवेट लिमिटेड रहे हैं।
दूसरा भूखंड: यह भूखंड भी यमुना सिटी के सेक्टर-22डी में है। इसका क्षेत्रफल 20,000 वर्ग मीटर है। सफल बोलीदाता कंपनी मेसर्स एल्डेको इंफ्रास्ट्रक्चर एंड प्रॉपर्टीज लिमिटेड है। एल्डेको का अधिकतम बोली मूल्य 96,86,73,000 रुपये (छियानवे करोड़ छियासी लाख तिहत्तर हजार रुपये) लगाई है। यमुना अथॉरिटी ने आरक्षित मूल्य 71,22,60,000 रुपये तय किया था। इस नीलामी में दूसरे स्थान पर मेसर्स अरिहंत बिल्डकॉन प्राइवेट लिमिटेड कंपनी रही है।
33 करोड़ रुपये ज्यादा पैसा मिला
यह ई-नीलामी YEIDA की ग्रुप हाउसिंग योजना का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जिसका उद्देश्य यमुना एक्सप्रेसवे क्षेत्र में आवासीय विकास को बढ़ावा देना है। दोनों भूखंडों के लिए प्राप्त बोलियां उनके आरक्षित मूल्य से काफी अधिक रहीं, जो इस क्षेत्र में रियल एस्टेट विकास के प्रति डेवलपर्स के उत्साह और विश्वास को दर्शाता है। इस सफल ई-नीलामी से न केवल YEIDA को महत्वपूर्ण राजस्व प्राप्त होगा, बल्कि यह यमुना एक्सप्रेसवे क्षेत्र में आवासीय विकास को भी गति प्रदान करेगी। इससे क्षेत्र में रोजगार के नए अवसर सृजित होंगे और स्थानीय अर्थव्यवस्था को बढ़ावा मिलेगा। यमुना प्राधिकरण ने इन दोनों भूखंडों का आरक्षित मूल्य 213,67,80,000 (दो सौ तेरह करोड़ सड़सठ लाख अस्सी हजार) रुपये तय किया था। अथॉरिटी को इस नीलामी से 246,44,19,000 रुपये राजस्व मिला है।